मध्य प्रदेश में 1 दर्जन से अधिक मारपीट की घटनाएं ।
S.m.s. प्राप्त होने के 3 दिन बाद तक तुलाई ।
भोपाल । अरविंद सिंह तोमर की रिपोर्ट ।
प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने लॉक डाउन की स्थिति में कोरोनावायरस संक्रमण की भयावहता के चलते भी जिस हिम्मत के साथ किसानों के हितार्थ फसल खरीदी को मंजूरी दी , एवं समय से संबंधित उपार्जन की खरीदी प्रदेश भर में लगभग सभी केंद्रों पर होना प्रारंभ हो गई है , प्रदेश के किसानों के हितार्थ महत्वाकांक्षी एवं भावनात्मक पहल को एक तरफ जहां शिवराज सिंह चौहान ने दृढ़ संकल्प के साथ जारी किया है ,वहीं दूसरी ओर प्रदेशभर के किसानों के प्रति मंडियों में संबंधित प्रशासनिक अधिकारी अथवा मंडी विभाग से जुड़े हुए कर्मचारियों द्वारा अमान विजेता का व्यवहार किया जा रहा है ।
किसानों के साथ जानवरों के समान मारपीट ।
मध्य प्रदेश के लगभग 23 से अधिक जिला एवं तहसील स्तर की मंडियों में किसानों के साथ मारपीट एवं गलत व्यवहार की शिकायत है प्रतिदिन जिला प्रशासन से लेकर मुख्यमंत्री कार्यालय तक पहुंच रही है , सोशल मीडिया के इस दौर में सोशल मीडिया पर भी इस तरह की कई खबरें लगातार चल रही है जिन खबरों में किसानों के साथ अमानवीयता पूर्ण व्यवहार सामने दिखाई दे रहा है । कृषि एवं उपार्जन केंद्रों विशेष रुप से मध्य प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार पिछले 10 दिवस के अंतराल में किसानों के साथ मारपीट एवं उन्हें परेशान किए जाने के मामले में लगभग 3 दर्जन से अधिक शिकायतें सामने आई , मध्य प्रदेश के सिंगरौली , बालाघाट , विदिशा सहित ग्वालियर चंबल संभाग के लगभग 20 से अधिक कृषि उपज खरीदी केंद्रों में इस तरह की शिकायतें आना रोजमर्रा का विषय हो गया है ..
खरीदी केंद्रों पर कर्मचारियों , अधिकारियों की लापरवाही ।
मध्यप्रदेश के उपार्जन से संबंधित लगभग अधिकांश सेंटरों पर यह देखने में आया है कि विभाग के संबंधित अधिकारी एवं कर्मचारियों का व्यवहार किसानों के साथ सकारात्मक एवं व्यवहारिक नहीं है । दूसरी और अव्यवस्थाओं के चलते जिन किसानों को s.m.s. प्राप्त होता है , मैं उसी दिन संबंधित मंडी में पहुंच जाता है परंतु उसकी खरीदी 2 से 3 दिन तक चलती है , और वह संबंधित केंद्र पर दो से 3 दिन तक अपनी फसल विक्रय के लिए इंतजार करता रहता है । इस तकनीकी एवं बड़ी समस्या के कारण ही संपूर्ण मध्यप्रदेश में किसानों एवं कर्मचारियों के बीच हाथापाई से लेकर मारपीट तक की नौबत आ चुकी है,
श्योपुर जिले में तहसीलदार द्वारा किसान की मारपीट ।
इस मामले में प्राप्त जानकारी के अनुसार शिवपुर जिले की बड़ौदा तहसील अंतर्गत कृषि उपार्जन केंद्र पर पुलिस द्वारा किसानों के साथ बल प्रयोग किया गया , फसल खरीदी के लिए आए किसान को फसल बेचने के लिए एसएमएस प्राप्त होने के तीन दिवस पूरे होने के बाद जब इस मामले में संबंधित अधिकारी तहसीलदार शिवराज मीणा से किसानों ने चर्चा की तो संबंधित तहसीलदार भड़क गए और उन्होंने पुलिस को लाठीचार्ज का आदेश दे दिया , स्थानीय प्रशासन से प्राप्त जानकारी के अनुसार उक्त तहसीलदार की कई शिकायतें पूर्व में भी जिला प्रशासन को प्राप्त हो चुकी है , मामले में जब तूल पकड़ा तो इस मामले की शिकायत किसान एवं स्थानीय नेताओं द्वारा मुख्यमंत्री कार्यालय तक की गई । कुल मिलाकर इसी प्रकार के हालात मध्य प्रदेश के कई जिलों में उपार्जन केंद्रों में खरीदी के दौरान सामने आ रहे हैं ।